Month: January 2025
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1 फ़रवरी 2025 ,शनिवार का “अपने सहकर्मियों की कलम से” का साप्ताहिक विशेषांक
https://youtu.be/kLsTGj_BrzA?si=agxg5FbIVesR7lP3 https://youtu.be/LZ1OAEnimuY?si=IYb3APwCvf2ihPF1 ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार में शनिवार का दिन एक उत्सव की भांति होता है। यह एक ऐसा दिन होता है जब हम सब सप्ताह भर की कठिन पढाई के बाद थोड़ा Relaxed अनुभव करते हैं और अपने साथिओं के साथ रूबरू होते हैं, उनकी गतिविधिओं को जानते हैं। हर कोई उत्साहित होकर अपना
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प्राणाग्नि के जखीरे पर आधरित लेख श्रृंखला का तीसरा लेख- गायत्री साधना से प्राणशक्ति का संग्रह हो सकता है।
30 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद- सोर्स: काया में समाया प्राणाग्नि का जखीरा परम पूज्य गुरुदेव की दिव्य रचना “काया में समाया प्राणाग्नि का जखीरा” मात्र 43 पन्नों की कोई साधारण सी पुस्तक नहीं है। 2010 में प्रकाशित हुए रिवाइज्ड एडिशन के अध्ययन से जो ज्ञानप्राप्ति होती है, उसे शब्दों में वर्णन कर पाना लेखक
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प्राणाग्नि के जखीरे पर आधरित लेख श्रृंखला का दूसरा लेख- क्या हर कोई मनुष्य प्राणवान बन सकता है ?
29 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद-सोर्स, काया में समाया प्राणग्नि का जखीरा परम पूज्य गुरुदेव की दिव्य रचना “काया में समाया प्राणाग्नि का जखीरा” मात्र 43 पन्नों की कोई साधारण सी पुस्तक नहीं है। किसी भी युग में मनुष्य को उत्कृष्ट मार्गदर्शन प्रदान करने वाली इस पुस्तक को “सुखद जीवन का रामबाण” कहना कोई अतिश्योक्ति न
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प्राणाग्नि के जखीरे पर आधरित लेख श्रृंखला का प्रथम लेख- नन्हा सा बीज प्राणतत्व लिए हुए है।
28 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद –सोर्स- काया में समाया है प्राणाग्नि का जखीरा परम पूज्य गुरुदेव की दिव्य रचना “काया में समाया प्राणाग्नि का जखीरा” मात्र 43 पन्नों की कोई साधारण सी पुस्तक नहीं है। किसी भी युग में मनुष्य को उत्कृष्ट मार्गदर्शन प्रदान करने वाली इस पुस्तक को “सुखद जीवन का रामबाण” कहना कोई
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कल से आरम्भ होने वाली लेख श्रृंखला की रोचक सी भूमिका।
27 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद 47 मिलियन व्यूज वाले महामृत्युंजय मंत्र के साथ आज के ज्ञानप्रसाद का शुभारम्भ होता है। भूमिका क्या, यह तो “अपनों से अपनी बात” जैसा लेख प्रतीत हो रहा है, जी हाँ कुछ ऐसा ही है। ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार के समर्पित साथी इसकी कार्यप्रणाली से भलीभांति परिचित हैं। इस कार्यप्रणाली
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जनवरी माह के अंतिम शनिवार का विशेषांक- क्या हम अपनेआप को साथिओं से ऋण मुक्त कर पायेंगें ?
25 जनवरी 2025 हमारे समर्पित साथिओं ने माह का अंतिम शनिवार हमारे लिए फिक्स किया हुआ है जिसके लिए हम आभार व्यक्त करते हैं। आज प्रस्तुत किए गए स्पेशल सेगमेंट में हम चार “सैंपल कॉमेंट” के बारे में चर्चा कर रहे हैं। ऐसे अनेकों कॉमेंट्स जिन्हें हमारे साथी समयदान, श्रमदान,ज्ञानदान करके हमारे ऊपर ऋण का
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गुरुदेव से हमारे सम्बन्ध कैसे हों ? चतुर्थ एवं समापन भाग। अनिश्चित नहीं, सुनिश्चित परिजनों की आवश्यकता है।
23 जनवरी 2025 गुरुवार का ज्ञानप्रसाद-सोर्स- अखंड ज्योति जुलाई 1966 पृष्ठ 26 चार भागों में पूर्ण हुई वर्तमान लेख श्रृंखला का आज चतुर्थ एवं समापन भाग प्रस्तुत किया गया है। परम पूज्य गुरुदेव की इच्छा है कि कुछ ऐसे परिजन शिक्षित कर दिए जाएँ जिन्हें हम अपने उत्तराधिकारी कह सकें। उनकी योग्यता ऐसी हो कि
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गुरुदेव से हमारे सम्बन्ध कैसे हों ? भाग 3 -हमारे गुरुदेव एक पारिवारिक शिक्षक
22 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद -सोर्स अखंड ज्योति जुलाई 1966 पृष्ठ 26 परम पूज्य गुरुदेव स्वयं को परिजनों के ऋण से मुक्त करना चाहते हैं। आज के लेख में गुरुवर कह रहे हैं कि यदि हमारा “भावना शरीर” यानि हमारा साहित्य, हर प्रेमी परिजन के समीप एक मूर्तिमान कलेवर की तरह विद्यमान रह सके तो हमारे
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ऋतंबरा-प्रज्ञा की सरलतम चर्चा
12 अक्टूबर का ज्ञानप्रसाद – हो सकता है आज के लेख का हर कोई वाक्य आपको बार-बार पढ़ना पढ़े , बहुत गूढ़ है। शब्दसीमा के कारण भूमिका ले लिए कोई स्थान नहीं बचा। _________________ ज्ञान अनंत है -इसका कोई अंत नहीं कभी भी किसी ज्ञान को अंत नहीं कहना चाहिए क्योंकि अगर भगवान ही अनंत
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गुरुदेव के जीवन पर लेखों की श्रृंखला
गुरुदेव के जीवन पर लेखों की श्रृंखला – लेख 1 आत्मीय परिजनों -एक निवेदन : आज से हम लेखों की श्रृंखला आरम्भ कर रहे हैं जो केवल परमपूज्य गुरुदेव पर ही आधारित होंगें। पिछले कई दिनों से हम कुछ एक पुस्तकों का अध्यन कर रहे थे और ऐसे कुछ लेख हमारे अंतकरण में दर्शित हुए
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कर्म और भाग्य में कौन सर्वश्रेष्ठ है और क्यों?-पार्ट 2
15 अक्टूबर 2021 का ज्ञानप्रसाद विजयदशमी की सुबह में आप सबको शुभकामनायें देते हुए हमें अत्यंत प्रसन्नता हो रही है। कामना करते हैं कि असत्य की हार के साथ सत्य की जीत हो और विश्व के हर प्राणी का जीवन सुखमय हो। आज और पिछले कल के दोनों ही ज्ञानप्रसाद पूर्णतया व्यक्तिगत हैं।
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मन क्या है ?
21 अक्टूबर 2021 का ज्ञानप्रसाद – हमको मन की शक्ति देना मन विजय करे आज का ज्ञानप्रसाद गुड्डी फिल्म की बहुचर्चित प्रार्थना “हमको मन की शक्ति देना मन विजय करे” से आरम्भ कर रहे हैं। इस लेख में व्यक्त किये गए विचार केवल हमारी अल्पबुद्धि और अल्प-अनुभव पर आधारित हैं। इन विचारों से सहमत य
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सत्संग मनोनिग्रह में बड़ा सहायक है
27 नवम्बर 2021 का ज्ञानप्रसाद आज का ज्ञानप्रसाद स्वामी आत्मानंद जी द्वारा लिखित पुस्तक “मन और उसका निग्रह” के अध्याय12 और 13 हैं । मनोनिग्रह की यह अद्भुत श्रृंखला आदरणीय अनिल कुमार मिश्रा जी के स्वाध्याय पर आधारित प्रस्तुति है।ऑनलाइन ज्ञानरथ परिवार रामकृष्ण मिशन मायावती,अल्मोड़ा के वरिष्ठ सन्यासी पूज्य स्वामी बुद्धानन्द जी महाराज और छत्तीसगढ़
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अरणि मंथन
आज का लेख आरम्भ करने से पूर्व हम अपने सहकर्मियों का ह्रदय से आभार व्यक्त करते हैं जो इतनी सक्रियता, नियमितता,श्रद्धा और अनुशासन के साथ ऑनलाइन ज्ञानरथ को सफल करने में कोई भी कसर नहीं छोड़ रहे हैं। अनुशासन की बात करें तो एक दिन सरविन्द भाई साहिब व्यस्तता के कारण कुछ असक्रिय रहे और
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गायत्री नगर प्रयोगशाला की कार्यशैली
7 जून 2022 का ज्ञानप्रसाद गायत्री नगर शांतिकुंज हरिद्वार पर आधारित लेख श्रृंखला का यह छटा लेख है। सभी लेखों में यही प्रयास किया गया है कि इस युगतीर्थ में आने वाले प्रत्येक साधक को इसका वास्तविक रूप और उदेश्य से जानकार करवाया जाये। शांतिकुंज में लाखों-करोड़ों की संख्या में साधक जा चुके होंगें, आज
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ईश्वर से मिलने और वार्तालाप करने का स्थान।
4 जुलाई 2022 का ज्ञानप्रसाद- ईश्वरीय सत्ता पर आधारित लेख माला का यह अंतिम पार्ट है। यह टॉपिक इतना गहन चिंतन योग्य है कि इस ज्ञानप्रसाद का अमृतपान करते समय पाठकों के अंतःकरण में अवश्य ही कई प्रकार के प्रश्न उठेंगें। सबसे बड़ा प्रश्न तो हमारे शरीर में अंतःकरण के स्थान का है। कहाँ पर
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अपने सहकर्मियों की कलम से -6 अगस्त 2022
हर शुक्रवार को जब हम यह वीकेंड विशेष सेगमेंट लिखना आरम्भ करते हैं तो एक अद्भुत सी सुखद अनुभूति होती है। यह अनुभूति इसलिए होती है कि हमारे समर्पित सहकर्मियों की contributions को पढ़ते समय ऐसा अनुभव होता है जैसे कि कई वर्षों का सम्बन्ध हो, हालाँकि बहुतों को तो हमने देखा तक नहीं है,
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गुरुदेव से हमारे सम्बन्ध कैसे हों ? भाग 2
21 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद- सोर्स अखंड ज्योति जुलाई 1966 कल आरम्भ हुई ज्ञानप्रसाद लेख श्रृंखला का आज मंगलवार को सभी साथियों के मंगल की कामना के साथ दूसरा लेख प्रस्तुत है। कल वाले लेख का समापन भावनाशील परिजनों को एड्रेस करते किया गया था। इस लेख में संकेत दिया गया था कि “भावना का
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गुरुदेव से हमारे सम्बन्ध कैसे हों ? भाग 1
20 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद -अखण्ड-ज्योति जुलाई 1966 ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार के प्रथा के अनुसार सोमवार को एक नवीन आध्यात्मिक लेख शृंखला का शुभारम्भ किया जाता है। आज भी सोमवार है, सप्ताह का प्रथम दिन है, नवीन ऊर्जा से ओतप्रोत गुरुकक्षा के सभी सहपाठिओं का अभिवादन है। आज प्रारम्भ हो रही लेख शृंखला ,जिसका सारांश
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18 जनवरी 2025, शनिवार का “अपने सहकर्मियों की कलम से” का साप्ताहिक विशेषांक
ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार में शनिवार का दिन एक उत्सव की भांति होता है। यह एक ऐसा दिन होता है जब हम सब सप्ताह भर की कठिन पढाई के बाद थोड़ा Relaxed अनुभव करते हैं और अपने साथिओं के साथ रूबरू होते हैं, उनकी गतिविधिओं को जानते हैं। हर कोई उत्साहित होकर अपना योगदान देकर
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युग निर्माण के लिए उत्तराधिकारिओं की तलाश-भाग 2
16 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद:सोर्स अखंड ज्योति दिसंबर 1964 “अखंड ज्योति” की रजत जयंती पर दिसंबर 1964 में इसी पत्रिका में प्रकाशित लेख में परम पूज्य गुरुदेव “प्राणवान उत्तराधिकारिओं की तलाश” की चर्चा कर रहे हैं। इस तलाश को 1965 की बसंत पंचमी पर और भी सक्रीय बनाने की बात कर रहे हैं। संयोग से
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अखंड ज्योति में 1964 और 1966 में प्रकाशित हुए दो लेखों पर आधारित लेख श्रृंखला की पृष्ठभूमि एवं उत्तरधिकारिओं की तलाश भाग 1
15 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद, सोर्स अखंड ज्योति दिसंबर 1964 ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार का प्रत्येक संकल्पित सहकर्मी इस प्रक्रिया से भलीभांति परिचित है कि जब भी किसी नवीन लेख श्रृंखला का शुभारम्भ होता है,उससे पहले उसकी पृष्ठभूमि की चर्चा अवश्य की जाती है। फ़िल्म की रिलीज़ से पहले, कुछ मिंटों के ट्रेलर सार्वजानिक करने
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हमारे शरीर में “मन” की जगह कहाँ है ?
14 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद –सोर्स Quora की अनेकों posts हमारे समर्पित साथिओं को स्मरण होगा कि 2021 में आदरणीय अनिल मिश्रा जी की प्रेरणा से ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार के मंच से “मनोनिग्रह” विषय पर 30 लेखों की भारी भरकम लेख श्रृंखला प्रस्तुत की गयी थी, साथिओं के कमैंट्स ने इसे सच में भारी
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मनुष्य शरीर में नाभि का महत्व-पार्ट 4
13 जनवरी 2025 सोमवार का ज्ञानप्रसाद आज सप्ताह का प्रथम दिन सोमवार है और लोहड़ी के पावन पर्व के कारण हम सभी सहकर्मी अति ऊर्जावान हैं। सभी को लोहड़ी और मकर सक्रांति की हार्दिक शुभकामना। 27 नवंबर 2024 को हमारी सर्जरी थी और उसी दिन नाभि ज्ञान की लेख श्रृंखला का तीसरा ज्ञानप्रसाद लेख प्रस्तुत
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2024 की सर्जरी के बाद ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार के मंच से प्रकाशित होने वाला आठवां Full length लेख- सजल श्रद्धा-प्रखर प्रज्ञा स्मारकों की उत्पति
8 जनवरी 2025 का ज्ञानप्रसाद, स्रोत- चेतना की शिखर यात्रा आज का ज्ञानप्रसाद लेख भी पिछले सात लेखों की भांति ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार के मंच पर प्रकाशित हुए लेख का पुनः प्रकाशन है। 28 दिसंबर 2020 को इसी शीर्षक से प्रकाशित हुए लेख को एडिट करके गुरुकुल की आध्यात्मिक गुरुकक्षा में प्रस्तुत करना हमारे
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2024 की सर्जरी के बाद ऑनलाइन ज्ञानरथ गायत्री परिवार के मंच से प्रकाशित होने वाला सातवां Full length लेख- रामानंद सागर एवं गुरुदेव के मिलन के पल
आज सप्ताह का प्रथम दिन सोमवार है और आज प्रस्तुत किया गया ज्ञानप्रसाद लेख हमारी रिसर्च के आधार पर,एक फेसबुक पोस्ट पर आधारित है जिसमें प्रसिद्ध बॉलीवुड डायरेक्टर स्वर्गीय रामानंद सागर और परमपूज्य गुरुदेव के मिलन के अविस्मरणीय पल वर्णित किये गए हैं। श्री चिन्मय देशपांडे,पंडित देवेन्द्र भारद्वाज और श्यामाक्ष गोस्वामी जी की यह रचना